बूढ़ी गंडक व बागमती के बाद अब गंगा नदी का जलस्तर भी खतरे के निशान को पार कर गया है। बताया जाता है कि गंगा नदी के जलस्तर में चार दिन कमी आने के बाद एकाएक बढ़े जलस्तर ने मोहिउद्दीननगर व मोहनपुर के किसानों की चिंता बढ़ा दी है। बताया जाता है कि गंगा नदी का जलस्तर अपने खतरे के निशान 45.50 के उपर आ गया है। वहीं अब जलस्तर बढ़ा तो दोनों प्रखंडों के निचले इलाके दियारा में मौजूद हजारों एकड़ की फसल बर्बाद हो सकती है।
नदी के बढ़े जलस्तर बाद प्रशासन ने भी बांधों पर मुश्तैदी बढ़ा दी है। इधर, शहर के बूढ़ी गंडक नदी का जलस्तर रविवार को 30 सेंटीमीटर से ज्यादा बढ़कर खतरे के निशान 45.73 मीटर से 1.07 मीटर उपर 46.80 मीटर तक पहुंच गया है। अरूण प्रसाद, ईई, फ्लड कंट्रोल के ईई अरूण प्रसाद ने बताया कि बूढ़ी गंडक नदी का जलस्तर लगातार बढ़ रहा है। अब यह खतरे के निशान से एक मीटर ऊपर आ चुका है।
घर में घुसा पानी ; दो माह के बच्चे को लेकर तटबंध पर ली शरण
बागमती नदी के जलस्तर में बढ़ोतरी जारी है। रविवार को मलिकौली गांव के वार्ड 1 निवासी राम जी साह अपने 2 माह के नवजात को गोद में लेकर पानी की तेजधार के बीच से तटबंध पर शरण लेने के लिए जा रहे थे। उन्होंने बताया कि घर में बाढ़ का पानी प्रवेश कर गया है। इसलिए हम लोग बच्चे के साथ तटबंध पर रहने जा रहे हैं। प्रशासन ने ना तो नाव की व्यवस्था कराई गई है ना ही कोई मूलभूत सुविधा ही दी है। बाढ़ में 2 दर्जन से अधिक गांव के 10 हजार घरों में बाढ़ का पानी प्रवेश कर चुका है। इनमें कलौजर, सलाह, रमजान नगर, नामापुर, दरियापार, मलिकौली, रजपा आदि शामिल हैं।
समस्तीपुर-दरभंगा रेलखंड पर बाढ़ का पानी बढ़ा
समस्तीपुर-दरभंगा रेलखंड पर बाढ़ का कहर जारी है। जिस कारण तीसरे दिन भी इस रेलखंड पर ट्रेनों का परिचालन शुरू नहीं हो पाया। हायाघाट स्टेशन के पास बागमती नदी का पानी और बढ़ जाने से पुल के गाटर से पानी ऊपर चढ़ गया है। पानी का दबाव बढ़ने से रेलवे पुल पर खतरा उत्पन्न हो गया है। रेलवे अभियंताओं का कहना है कि पानी अभी राइजिंग मोड में है। ऐसी स्थिति में पुल पर खतरा बढ़ता जा रहा है। नदी का जलस्तर बढ़ता रहा तो कुछ भी संभव है। अब पानी कम होने और पाये की स्थिति जांचने के बाद ही ट्रेनों का परिचालन शुरू हो पाएगा।
हालांकि रेलवे के मीडिया प्रभारी सह सीनियर डीसीएम सरस्वती चंद्र ने कहा कि पुल की स्थिति की निगरानी के लिए इंजीनियरिंग विभाग के लोग राउंड दी क्लाॅक निगरानी रख रहे हैं। रेलवे के अभियंताओं का कहना है हायाघाट के पास डेंजर लेवल 46.92 है जबकि नदी रविवार दोपहर 48.30 पर बह रही थी। वर्ष 1987 की बढ़ में यहां पानी का लेवर 48.50 था। गत 24 घंटा के दौरान पानी का लेवल 25 सेंटीमीटर बढ़ी है। अभी पानी बढ़ने की संभावना है।
पतैल टोला के 150 परिवार का बाहर निकलना हुआ मुश्किल
निरपुर भड़रिया पंचायत के पतैल टोला के वार्ड 7 व 8 का विगत एक सप्ताह से पंचायत व प्रखंड मुख्यालय से सड़क संपर्क टूटा है। गांव तक पहुंचने वाली संपर्क सड़क पर करीब एक किलोमीटर में पानी बह रहा है। बावजूद इसके प्रशासन ने गांव में नाव की व्यवस्था नहीं कराई। एक सप्ताह से गांव के 150 परिवारों का घर से निकलना मुश्किल हो गया है। लोग जान जोखिम में डालकर बाढ़ के बहते पानी के बीच इसी सड़क से दैनिक कार्य करने को विवश हैं। पंचायत के सरपंच लक्ष्मी पासवान इसी गांव के निवासी हैं, पर वे भी लाचार हैं।
Download Dainik Bhaskar App to read Latest Hindi News Today
from Dainik Bhaskar https://ift.tt/2D6drf2
0 Comments
Please do not enter any spam link in the comment box